देहरादून। राज्यपाल ने राजीव गांधी नवोदय विद्यालय, देहरादून से शिक्षा विभाग की अभिनव पहल ‘‘शिक्षा की बात’’ कार्यक्रम का शुभारंभ किया। ‘‘शिक्षा की बात’’ कार्यक्रम का उद्देश्य प्रदेश के विविध भौगोलिक व सामाजिक परिवेश में अध्ययनरत विद्यार्थियों को प्रेरणादायी व्यक्तित्वों से सीधे संवाद का अवसर देना है। इस कार्यक्रम का आयोजन प्रत्येक माह के अंतिम सप्ताह में किया जाएगा, जिसमें शिक्षाविद्, साहित्यकार, समाजसेवी, वैज्ञानिक, व्यवसायी, सैन्य अधिकारी आदि विशिष्टजन छात्रों से वार्ता करेंगे। इसका सजीव प्रसारण राजीव गांधी नवोदय विद्यालय स्थित केंद्रीय वर्चुअल स्टूडियो से किया जाएगा, जिसमें 13 सौ से अधिक विद्यालय सीधे जुड़ेंगे।
इस अवसर पर राज्यपाल ने दूरस्थ क्षेत्र के बच्चों से सीधे संवाद किया। इस दौरान चमोली, टिहरी, पिथौरागढ़ आदि से छात्र-छात्राओं ने राज्यपाल से करियर को लेकर सवाल पूछे। राज्यपाल ने अपने अनुभवों के आधार पर बच्चों की जिज्ञासाओं को शांत किया और उन्हें सफलता के मंत्र बताए।
राज्यपाल ने कहा कि ‘‘शिक्षा की बात’’ शिक्षा विभाग की दूरदर्शी और सराहनीय पहल है, जो बच्चों के भविष्य को नई दिशा देगी। उन्होंने कहा कि आज के समय में तकनीक का सही उपयोग करना बहुत जरूरी है और शिक्षा के क्षेत्र में यह बच्चों को समान अवसर देने का एक प्रभावी माध्यम है। शिक्षा विभाग द्वारा तकनीक का सही उपयोग किया जाना सराहनीय है।
राज्यपाल ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि वे बड़े सपने देखें और उन्हें पूरा करने के लिए संकल्प लें। उन्होंने कहा कि सपनों को सच करने के लिए अतिरिक्त प्रयास करना जरूरी है और यही सफलता की कुंजी है। राज्यपाल ने छात्र-छात्राओं से कहा कि उनकी सोच और उनका योगदान विकसित भारत के निर्माण में बहुत अहम है।